Chandrayaan-3 Landing live Update : चंद्रयान-3 को लेकर भारत इतिहास रचने के बेहद करीब पहुंच चुका है। चंद्रयान-3 अब चांद से चंद कदम दूर ही है। आज शाम 6 बजकर 4 मिनट पर Chandrayaan-3 पूरी तरह से चांद सतह को छूने के लिए तैयार है। ISRO ने अपडेट देते हुए कहा कि शाम लगभग 5:45 बजे चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट-लैंडिंग कराने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी।
चंद्रयान-3 के विक्रम लैंडर (Vikram Lander) की चांद के सतह पर अगर सॉफ्ट लैंडिंग (Chandrayaan-3 Landing live Update) सफल होती है तो ऐसा कारनामा करने वाला भारत दुनिया का चौथा देश बन जाएगा। अमेरिका, चीन और पूर्व सोवियत संघ अब तक इस तकनीक में महारत हासिल कर चुके हैं, हालांकि उनकी “सॉफ्ट लैंडिंग” चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर नहीं हुई है।
14 जुलाई को भारत ने 600 करोड़ रुपये की लागत वाले अपने तीसरे चंद्र मिशन, “चंद्रयान-3” का प्रक्षेपण रॉकेट “लॉन्च व्हीकल मार्क-3” (LVM3) से किया था। चंद्रयान-2 का अगला लक्ष्य है चंद्रयान-3।
चंद्रयान-3 का उद्देश्य चंद्रमा की सतह पर सुरक्षित और सॉफ्ट-लैंडिंग (Soft Landing) करना, इसके रोवर को चांद की सतह पर चलाकर दिखाना और कई वैज्ञानिक एक्सपेरिमेंट को अंजाम देना है। जैसे ही यह चांद की सतह पर पहुंचेगा लैंडर और रोवर धरती के 14 दिनों (लूनर डे यानि चंद्र दिवस) के समान समय के लिए सक्रिय रहेंगे
चंद्रयान-3 चांद की सतह को छूने के लिए बेताब(Chandrayaan-3 Landing live)
ISRO का चंद्र अभियान चांद के दक्षिण ध्रुवीय क्षेत्र में सॉफ्ट लैंडिंग करना है। सितंबर 2019 में आईएसआरओ ने पहले चंद्रयान-2 को चांद पर उतारने का प्रयास किया था। लेकिन उस समय उसका विक्रम लैंडर क्षतिग्रस्त हो गया था। भारत के पहले चंद्र मिशन चंद्रयान-1 को 2008 में प्रक्षेपित किया गया था।
भारत ने 14 जुलाई को ‘लॉन्च व्हीकल मार्क-3’ (LVM3) रॉकेट के जरिए 600 करोड़ रुपये की लागत वाले अपने तीसरे चंद्र मिशन- ‘चंद्रयान-3’ का प्रक्षेपण किया था। इस अभियान में 41 दिन की यात्रा में चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र पर एक बार फिर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ का प्रयास करेगा, जहां कोई देश अभी तक नहीं पहुंच पाया है।
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ISRO ने कहा है कि मॉड्यूल को आंतरिक जांच से गुजरना होगा और निर्दिष्ट लैंडिंग स्थल पर सूर्योदय का इंतजार करना होगा। उसने कहा कि चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट-लैंडिंग करने के लिए प्रक्रिया बुधवार शाम लगभग 5:45 बजे शुरू होने की उम्मीद है। निर्धारित लैंडिंग से एक दिन पहले, ISRO ने मंगलवार को कहा था, ‘मिशन तय कार्यक्रम के अनुसार आगे बढ़ रहा है। प्रणालियों की नियमित जांच की जा रही है। सुचारू संचालन जारी है.’
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